जहरीली शराब से हो रही मौतों पर जमकर सियात हो रही हैल जहां विपक्ष बीजेपी को जिम्मेदागर ठहरा रहा है,..वहीं सत्ताधारी भी विपक्ष को लपेटने में कोई कोर कसर नहीं छोड़ रहे हैं...जबकि इस शराब कांड में मरने वालों की संख्या लगातार बढ़ रही है
प्रशासन की लापरवाही पर करीब 120 लोगों की जान कुर्बान होने के बाद...आखिरकार, अधिकारियों को अपने फर्ज की याद आ ही गई....अब तो शराब की भट्टियां भी मिल गई...और आरोपियों की ताबड़तोड़ गिरफ्तारियां हो गई..लेकिन बहुत देर हो गई सरकार....लोगों के मरने से पहले आपके प्रशासन को ऐसे शराब माफियाओं की याद क्यों नहीं आई यूपी और उत्तराखंड में जिन्होंने, महंगाई के दौर में सस्ते जाम पर अपनी जान गंवा दी...उस समय न आपका प्रशासन जागा, और नहीं आपके नौकशाहों की नींद खुली….बस एक के बाद जहरीले जाम झलकते रहे और एक कर लाशें गिरती चली गई....अब जागिए, और सिय़ासत किजिए, मरने वाले मर गए...बस मातम पसरे इन परिवारों में सियासी मरहम लगाने के लिए आपको छोड़ गए...अब शराब की भट्टियां जमीन से निकालकर नष्ट करी जा रही...छापेमारी अभियान चलाया जा रहा है...अधिकारियों को सस्पेंड भी किया जा रहा है....लेकिन क्या फायदा अब तो करीब 120 लोग इस जहरीले कहर का शिकार हो गए...उस समय क्यों सोता रहा आपका प्रशासन,क्यों बनता रहा ये जहर... ये कोई नहीं जानता,, क्योंकि, हथेली पर हफ्ता आते ही सारे कानून पुरवइया में पत्ते की तरह उड़ जाते हैं...ये हाल उस यूपी और उत्तराखंड का है जहां सत्ताधारी....शराब माफियों पर कार्रवाई करने का दावा कर सत्ता पर काबिज हुए थे...लेकिन जनाब हुआ क्या तस्वीर आप खुद देख लिजिए...भले ही आरोप आप दूसरी पर्टीयों पर मढ़ दीजिए...उत्तर प्रदेश में करीब 90 से ज्यादा और हरिद्वार में करीबी 36 मौतों के साथ जहरीली शराब की वजह से मरने वालों का आंकड़ा करीब 120 हो गया है....इसके अलावा यूपी में 16 और उत्तराखंड में 12 लोगों की हालत गंभीर है....समाजवादी पार्टी और बहुजन समाज पार्टी दोनों राज्यों में हुई मौतों के लिए सत्ताधारी बीजेपी पर आरोप मढ़ रही हैं.....
वहीं यूपी में सत्ता के तलबगार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ...इस कांड मरने वालों के जख्मों पर मरहम लगाने के लिए साजिश की बू बता रहे हैं...जिसमें एसपी को सीधे तौर पर आरोपी मान कर चल रहे है
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने यूपी में जहरीली शराब से मौत होने पर इसके जिम्मेदार को फांसी का फरमान दिया है….उसके बावजूद भी प्रदेश के शराब माफियाओं में कोई डर नहीं पैदा हो पायाजिसका परिणाम यह हुआ कि सहारनपुर, कुशीनगर और उत्तराखंड के रुड़की में जहरीली शराब पीने से करीब 120 लोगों काल के गास में समा गए...।।
यूपी उत्तराखंड में ज्यादा पैसे कमाने के लिए अवैध शराब के कारोबारियों ने कैसे लोगों की हंसती खेलती जिंदगी दुखों में धकेल दी...कैसे उन्होंने चंद पैसों के लिए इतनी सारी जिंदगियों का सौदा कर डाला... जिन गांवों में कभी चहल-पहल हुआ करती थी...आज उन्हीं गांवों में चारों तरफ मातम पसरा है....चारों तरफ सन्नाटा फैला है....इस जहर से मौत की नींद सोने वालों के पोस्टमार्टम रिपोर्ट में जो खुलासा हुआ उसने सबको चौका दिया....करीब 120 लोगों की जान लेने वाली जहरीली शराब में जो केमिकल मिलाया गया....वो इतना खतरनाक था कि...मरने वालों की नसे तक सिकुड़ गई....इसका दावा किसी और ने नहीं बल्कि, साझा पोस्टमार्टम करने वाले उत्तराखंड और उत्तर प्रदेश के डॉक्टरों ने किया....इस जहरीले केमिकल का नाम क्या है,.. और यह लोगों की जान के लिए कितना घातक है.... इसका पता लगाने की लिए मरने वाले सभी लोगों का विसरा सुरक्षित रखा गया है....और रिपोर्ट दोनों राज्यों ने फोरेंसिक लैब में भेजी गई है...शराब कांड में मरने वालों का आंकड़ा करीब 120 तक पहुंच गया.जहरीली शराब पीने के बाद बेहोश 42 लोगों को मेरठ मेडिकल में भर्ती कराया गया, जिनमें कई लोगों की जान चली गई....सबका पोस्टमार्टम मेरठ में ही कराया गया....वहीं सहारनपुर और रुड़की में भी मरने वालों का पोस्टमार्टम हुआ....इनकी रिपोर्ट सहारनपुर सीएमओ और पुलिस प्रशासन ने ली.....उनकी भी पोस्टमार्टम रिपोर्ट एक जैसी है...जिससे साफ हो गयाकि, मरने वाले सभी लोगों जान लेने वाला एक ही जहरीला पदार्थ था....जोकि शराब में मिलाया गया था...यह जहरीला केमिकल कौन सा है, इसका पता उत्तर प्रदेश की आगरा, मोदीनगर और उत्तराखंड की फोरेंसिक लैब लगाएंगी....ऐसे में सवाल यही उठ रहा है कि, इतना खतरनाक और जहरीला पर्दाथ लोगों को इतनी आसानी से कहां से मिल रहा है...मौत का यह तांडव आखिर शुरू कैसे हुआ….इसके बाद TV 24 की टीम ऐसे कई घरों में पहुंची….यहां के लोगों से बात करने पर पता चला कि अब तक बिंदुखड़क में 17 लोगों की मौत जहरीली शराब के कारण गो गई....बिंदुखड़क गांव के लोगों का कहना था कि, जहरीली शराब का गोरखधंधा बिंदुखड़क गांव और बल्लूपुर गांव में धड़ल्ले से चल रहा है जिसको रोकने वाला कोई नहीं है....लोगों का भी यही कहना है कि इसकी शिकायत उन्होंने प्रशासन से कितनी बार की लेकिन प्रशासन के कान में जूं तक नहीं रेंगी....लापरवाही का नतीजा यह निकला कि करीब 120 ऊपर लोगों को अपनी जान से हाथ धोना पड़ा....लेकिन मौतों का सिलसिला यही नहीं रुका अभी न जाने कितने लोगों को अपनी जान गंवानी पड़ेगी...जो भी हो लेकिन इन मौतों पर फिलहाल राजनीति जारी  है....फिलहाल मुआवजे का ऐलान कर दिया गया...लेकिन क्या मुआवजे की चंद रकम से वालों की भरपाई होगी, ...क्या उन परिवारों को उनके मिलेंगे जिनमें कभी चूल्हा जलता था और आज मातम पसरा है...।।।
प्रमोद शर्मा..

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

बिहार में बागेश्वर धाम (Bageshwar Dham) धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री बिहार के राजनेताओं में मचा दी खलबली,पागल का मतलब भी समझाया